समाज कल्याण प्रशासन का वर्णन कीजिए और समाज कल्याण प्रशासन की परिभाषा क्या है

समाज कल्याण प्रशासन का वर्णन कीजिए और समाज कल्याण प्रशासन की परिभाषा क्या है

 

Samaj Kalyan prashasan ka varnan kijiye samaj Kalyan prashasan ki paribhasha kya hai
Samaj Kalyan prashasan ka varnan kijiye samaj Kalyan prashasan ki paribhasha kya hai

 

 

समाज कल्याण प्रशासन एक प्रक्रिया है जिसके माध्यम से सामाजिक नीति को सामाजिक सेवाओं में बदला जा सकता है इसमें सार्वजनिक और निजी एजेंसियों का प्रशासन शामिल हैं ताकि व्यक्ति, परिवारों, समूहों, और समुदायों की जरूरतो को पूरा जा सकें सामाजिक कामकाज के लिए आवश्यक सामाजिक संबंधों और समायोजन को सुगम बनाया जा सके। समाज कार्य मुख्य रूप से सामाजिक संस्थाओं के माध्यम से अभ्यास में लाया जाता है सुधार गृहों स्कूल चिकित्सालय एवं आदि में अभ्यास में लाया जाता है समाज कार्यकर्ताओं के लिए समाज कल्याण का ज्ञान आवश्यक है।

 

 

समाज कल्याण संस्थानों में समाज कल्याण प्रशासन सामाजिक विधानो को कार्यान्वित करता है और कानून और नियमों को लोगों के लिए सेवा में बदलता है निजी समाज कल्याण संस्थाओं और अन्य स्वैच्छिक संगठनों में समाज कल्याण प्रशासन इन संस्थाओं एवं संगठनों के उद्देश्यों का मूल्यांकन करता है समाज कल्याण प्रशासन का अभ्यास सामान्य रूप से प्रशासन के सिद्धांतों एवं प्रविधियों पर आधारित है विशेष रूप से सार्वजनिक के प्रशासन एवं व्यवसाय प्रबंधन के सिद्धांतों एवं प्रविधियां पर आधारित है लेकिन यह मानव समस्याओं को परिभाषित करने और इन समस्याओं के समाधान करने जैसे समाज कार्य के कार्यों से संबंधित है यह मानवीय आवश्यकताओं की संतुष्टि से संबंधित हैं।

 

 

समाज कल्याण प्रशासन की परिभाषा
1.आर्थर डनहम 1949 के अनुसार – समाज कल्याण प्रशासन का अर्थ सहारा देने वाले और सुविधाजनक या सरल बनाने वाले क्रियाकलापों से है।

 

 

2.फ्रीडलैंडर 1955 के अनुसार – सामाजिक संस्थाओं का प्रशासन सामाजिक विधान की धाराओं और निजी परोपकारिता एवं धार्मिक दान के लक्ष्यों को मानवता के लिए गत्यात्मक सेवाओं और लाभो में बदल देता है।

 

3. जॉन सी किडने के अनुसार 1950- सामाजिक नीति को सामाजिक सेवाओं में बदलने की एक प्रक्रिया कहकर परिभाषित किया गया है।

 

4. स्लेक 1974 के अनुसार – सामाजिक प्रशासन अपने सिद्धांतों एवं ज्ञान के साथ एक और अधिक सामाजिक विज्ञान नहीं है यह तो किसी भी सामाजिक विज्ञान के निष्कर्षों का प्रयोग करता है जो इसके अपने क्षेत्र से संबंधित होते हैं और जिम सामाजिक घटनाओं या समस्याओं का समाधान सामाजिक नीति को कार्यान्वित करना और समाज कल्याण का संवर्धन करना सम्मिलित होता है।

 

5.फोर्डर 1974 के अनुसार-सामाजिक प्रशासन कल्याण व्यवस्था के अध्ययन से संबंधित हैं और मुख्यतः सरकार द्वारा प्रायोजित सामाजिक सेवाओं के अध्ययन से संबंधित हैं।

 

 

6.कैरियर एवं कैंडाल 1977 के अनुसार– सामाजिक प्रशासन सामाजिक प्रशासन का वह भाग है जो उन सेवाओं को प्रदान करता है जो चलता है जो विद्वान निर्योग्यताओं को मिटाने के लिए निर्देशित होती हैं और जो समुदाय में व्यक्तियों और परिवारों के लिए कल्याण हेतु अवसरों का सृजन करने के लिए निर्देशित होती हैं।

 

7.डोनेशन 1961 के अनुसार- सामाजिक प्रशासन सामाजिक सेवाओं के विकास संरचना और रीतियों का अध्ययन है।

 

8.करले के अनुसार- सामाजिक संस्थाओं का प्रबंध व्यक्तियों को जितना संभव हो सके एक बहुत ही उच्च तरीके से सहायता करने की ओर अभिविन्यस्त होता है करले ने संक्षिप्त में इसे मानवीय संबंधों की कला कहा है।

 

9. टिटमस 1958 के अनुसार- लिटमस के अनुसार विस्तृत अर्थों में सामाजिक प्रशासन को सामाजिक सेवाओं का एक ऐसा अध्ययन कहकर परिभाषित किया जा सकता है जिसका उद्देश्य परिवार और सामूहिक संबंधों की परिवेश में व्यक्ति के जीवन की दिशाओं में सुधार लाना।

 

 

10 . सीमा सिंह के अनुसार -समाज कल्याण प्रशासन एक ऐसी प्रक्रिया है जो निजी परोपकार एवं धार्मिक दान की भावना को सामाजिक सेवा में बदलता है।

 

समाज कल्याण प्रशासन के कार्य-
सामाजिक संस्थाओं के प्रशासकीय क्रियाकलापों को साथ कार्यों में विभाजित किया जा सकता है।

नियोजन-नियोजन एक ऐसी प्रक्रिया है जिसका अर्थ है सामाजिक संस्था की भाभी संरचना और कार्यों के विषय में विचार करना इस उद्देश्यों कार्यों और नीतियों की जिनकी संस्था पूर्ति करना चाहती है का निर्धारण और वर्गीकरण सम्मिलित है संस्था की विभिन्न सेवाओं से उसका कार्यक्रम बनता है और नियोजन कार्य इन सेवाओं को ठीक से चलाना सम्मिलित है।

 

संगठन– संगठन द्वारा संस्था के प्रशासनिक ढांचे का निर्माण होता है इसके द्वारा अंतिम नियंत्रण समूह प्रबंधन परिषद कार्यकारिणी यह कर्मचारियों के कार्यों को निश्चित किया जाता है।

 

 

कर्मचारीगण व्यवस्था– कर्मचारी गण व्यवस्था का अर्थ है कर्मचारियों का प्रशासन। यह एक महत्वपूर्ण प्रशासकीय कार्य है क्योंकि कर्मचारी गण का जाकर उनकी निपुणताएं आदि संस्थाओं द्वारा दी जाने वाली सेवाओं की गुणवत्ता को निर्धारित करती है।

 

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